पल्लव
Tuesday, September 27, 2022
{९४७ }
हम अपने इस अन्दाज़ में बहुत मस्त हैं
जरूरी नहीं कि सबको पसन्द या जाएं।
-- गोपाल कृष्ण शुक्ल
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment