पल्लव
Thursday, December 22, 2011
{ १०९ } {Dec 2011}
मदिरालय है आग, मदिरा है आग, साकी भी आग
लब से लगाओ जामो-साकी को सुलग उठेगी आग ।।
-- गोपाल कृष्ण शुक्ल
1 comment:
praveen
March 16, 2012 at 10:09 AM
जबरदस्त...
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