पल्लव
Monday, November 12, 2012
{ ३९८ } {Nov 2012}
जाने क्या मन कहने को तडपा करता है
तेरी यादों में जाने क्यों भटका करता है
अपनी आँखों में ही छुपा रखा है तुमको
बन्द पलकों मे दिल सिसका करता है।।
-- गोपाल कृष्ण शुक्ल
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment